भारतीय रेलवे ने उन खबरों का साफ शब्दों में खंडन किया है जिसमें ये आरोप लगाया गया था की उसने लातूर में पानी पहुँचने के एवज़ में भारी-भरकम बिल के भुगतान के लिए राज्य सरकार को बोला है|
ये खबर कई अख़बारों में छपी थी और इसके बाद से भारतीय रेलवे की काफ़ी आलोचना भी हो रही थी|
भारतीय रेलवे ने कहा है की उसने केवल पानी पहुँचाने की लागत, राज्य सरकार के आग्रह पर उससे बाँटी थी और ये भी के ये सारी खबरें झूठी हैं|
लातूर में भारतीय रेलवे का कार्य अत्यंत सराहनीय रहा है और सुरेश प्रभु ने अपने कार्यों से देश में भारी भरकम लोकप्रियता भी हासिल की है, इसीलिए इस खबर पर कई लोग वैसे भी विश्वास नहीं कर पा रहे थे|
भारतीय रेलवे ने ट्विटर पर ये बयान जारी किया:
News about seeking payment for #Jaldoot #Latur is completely false. Only cost of operations was shared with the State Gov on their request
— Ministry of Railways (@RailMinIndia) May 12, 2016
स्वाभाविक है की इस खबर के ग़लत होने की बात से सुरेश प्रभु और भारतीय रेलवे के कार्य से खुश लोग काफ़ी गुस्से में हैं| उल्लेखनीय है कई अख़बारों ने ये कहा था की सूखे से ट्रस्ट लोगों की मदद के बदले रेलवे ने 4 करोड़ का बिल राज्य सरकार को थमा दिया है|
MR @sureshpprabhu stated that #Jaldoot for #Latur is not a commercial activity for Indian Railways. pic.twitter.com/3tsRQOfkzN
— Ministry of Railways (@RailMinIndia) May 13, 2016